अंबाला (उपासना)-हरियाणा में चुनावी बयार के बीच कांग्रेस ने अपने अंदरूनी उथल-पुथल को साधने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। राज्य की प्रख्यात नेत्री किरण चौधरी को स्टार प्रचारकों की सूची में शामिल कर कांग्रेस ने न केवल अपनी रणनीति को मजबूती दी है, बल्कि अंदरूनी विवादों को भी थामने की कोशिश की है।
चौधरी बंसीलाल परिवार से उपेक्षा के चलते पार्टी में उठ रहे विवाद के मद्देनजर, किरण चौधरी को स्टार प्रचारक बनाकर कांग्रेस ने एक तरह से संकेत दिया है कि वह अपने वरिष्ठ नेताओं की उपेक्षा नहीं करना चाहती। इससे पहले महेंद्रगढ़-भिवानी लोकसभा सीट से उनकी बेटी श्रुति चौधरी का टिकट कटने के बाद किरण चौधरी में नाराजगी थी।
कांग्रेस के इस कदम को भाजपा द्वारा उठाए जा रहे सवालों का जवाब भी माना जा सकता है। भाजपा ने इस मामले को लेकर कांग्रेस पर कई बार निशाना साधा था। अब किरण चौधरी के साथ-साथ कर्नल रोहित चौधरी को भी स्टार प्रचारकों की सूची में शामिल करने से कांग्रेस ने अपनी चुनावी रणनीति को और अधिक सुदृढ़ किया है।
किरण चौधरी की वापसी ने कांग्रेस के अंदर एक नई उम्मीद जगाई है। उनकी उपस्थिति ने पार्टी कार्यकर्ताओं में नया जोश भर दिया है। उनके चुनावी अभियानों में उत्साह देखने को मिल रहा है, जिससे यह संकेत मिलता है कि कांग्रेस इस बार चुनावी समर में और अधिक ताकत के साथ उतरने को तैयार है।
इस कदम के साथ, कांग्रेस ने अपने नेतृत्व की दृढ़ता का परिचय दिया है और यह भी दिखाया है कि वह आंतरिक विवादों को दूर करने में सक्षम है। अब सभी की नजरें इस बात पर टिकी हैं कि ये बदलाव कांग्रेस के लिए चुनावी जीत का मार्ग प्रशस्त कर पाएंगे या नहीं।