काठमांडू (उपासना): नेपाल ने शुक्रवार को एक मानचित्र के साथ 100 रुपये के नए नोट छापने की घोषणा की, जिसमें लिपुलेख, लिंपियाधुरा और कालापानी के विवादास्पद क्षेत्रों को दिखाया गया है। भारत इस नक्शे को पहले ही ‘कृत्रिम विस्तार बता चुका है।
कैबिनेट फैसले की जानकारी मीडियाकर्मियों को देते हुए नेपाल सरकार की प्रवक्ता रेखा शर्मा ने बताया, ‘प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की बैठक में नेपाल का नया नक्शा छापने का निर्णय लिया गया, जिसमें लिपुलेख, लिंपियाधुरा और कालापानी को 100 रुपये के बैंक नोटों पा छापा जाएगा। सूचना और संचार मंत्री शर्मा ने कहा, ‘कैबिनेट ने 25 अप्रैल और 2 मई को हुई कैबिनेट बैठकों के दौरान 100 रुपये के बैंक नोट को फिर से डिजाइन करने और बैंक नोट की पृष्ठभूमि में मुद्रित पुराने मानचित्र को बदलने की मंजूरी दे दी।
18 जून, 2020 को नेपाल ने अपने संविधान में संशोधन करके तीन रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण क्षेत्रों- लिपुलेख, कालापानी और लिंपियाधुरा क्षेत्रों को अपने नक्शे में शामिल दिखाया और देश के राजनीतिक मानचित्र को अद्यतन किया था। इस पर भारत ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की और इसे ‘एकतरफा कृत्य और नेपाल द्वारा क्षेत्रीय दावों का ‘कृत्रिम विस्तार बताया था। बता दें कि लिपुलेख, कालापानी और लिंपियाधुरा भारत के उत्तराखंड राज्य के हिस्से हैं।