मुजफ्फराबाद (हेमा): पाकिस्तान के द्वारा कब्जे वाले कश्मीर (POK) में हमेशा नागरिकों के द्वारा दमनकारी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन चलता रहता है।
वहां के एक स्थानीय मीडिया रिपोर्ट में शनिवार (11 मई) को कहा गया कि पुलिस कार्रवाई के विरोध में पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर की राजधानी मुजफ्फराबाद में हड़ताल के दौरान व्यवसाय बंद रहे और सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ। जिसके कारण सुरक्षा बलों और प्रदर्शनकारियों के बीच टकराव हुआ।
दरअसल जम्मू-कश्मीर ज्वाइंट अवामी एक्शन कमेटी के आह्वान पर शुक्रवार (10 मई) को पीओके के मुजफ्फराबाद में शटर-डाउन और व्हील-जाम हड़ताल के दौरान पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े, जिससे घरों में लोग प्रभावित हुए।
बता दें कि, शनिवार की हड़ताल समाहनी, सेहंसा, मीरपुर, रावलकोट, खुइरट्टा, तत्तापानी और हट्टियन बाला सहित पीओके के विभिन्न हिस्सों में देखी गई।जेकेजेएसी ने मुजफ्फराबाद और मीरपुर डिवीजनों में रात भर की छापेमारी में अपने कई नेताओं और कार्यकर्ताओं को पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद हड़ताल का आह्वान किया। समिति ने पहले 11 मई को मुजफ्फराबाद की ओर एक लंबे मार्च की योजना की घोषणा की थी।
जेकेजेएसी एक प्रमुख अधिकार आंदोलन है जो बिजली बिलों पर लगाए गए अन्यायपूर्ण करों का विरोध कर रहा है। पिछले साल अगस्त में समिति ने इसी तरह की शटर-डाउन हड़ताल का आयोजन किया था। वहीं 11 मई की हड़ताल की आशंका में पीओके के मुख्य सचिव दाऊद मुहम्मद बाराच ने 22 अप्रैल को इस्लामाबाद में आंतरिक प्रभाग के सचिव को पत्र लिखकर सुरक्षा उद्देश्यों के लिए छह नागरिक सशस्त्र बल (सीएएफ) प्लाटून का अनुरोध किया था।