नई दिल्ली (हरमीत): सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाते हुए चुनावी डेटा को बूथ-वाइज वेबसाइट पर अपलोड करने की मांग करने वाली याचिका को खारिज कर दिया है। इस निर्णय के पीछे का कारण यह बताया गया कि लोकसभा चुनावों के पांच चरण पहले ही संपन्न हो चुके हैं और शेष दो चरणों के लिए मैनपावर और संसाधनों की कमी है।
याचिका की सुनवाई न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति सतीश चंद्र शर्मा की वेकेशन बेंच ने की थी। इस याचिका में NGO एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) ने चुनाव आयोग से अनुरोध किया था कि वे अपनी वेबसाइट पर फॉर्म 17सी डेटा के साथ-साथ बूथ-वाइज वोटिंग प्रतिशत का डेटा भी अपलोड करें।
एसोसिएशन ने यह भी मांग की थी कि चुनाव आयोग को चुनाव के 48 घंटे के भीतर यह डेटा अपलोड करना चाहिए। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने इस प्रक्रिया को अव्यावहारिक मानते हुए इसे अस्वीकार कर दिया। कोर्ट ने यह स्पष्ट किया कि वर्तमान चुनावी चरणों के मद्देनजर ऐसे निर्देशों का पालन करना संभव नहीं होगा।