पटना (राघव): बिहार विधानसभा में मानसून सत्र के आखिरी दिन सदन के अंदर और बाहर बिहार के लिए विशेष दर्जे की मांग ने खूब जोर पकड़ा। बिहार विधानसभा की कार्यवाही 11:00 बजे प्रारंभ हो इसके पूर्व राजद, कांग्रेस समेत वाम दल के नेताओं ने विधानसभा पोर्टिको में पोस्टर बैनर के साथ प्रदर्शन किया और बिहार के लिए विशेष दर्जे की मांग उठाई। राजद नेता प्रो. चंद्रशेखर ने कहा कि बिहार के लिए विशेष दर्जे की मांग काफी पुरानी है। सदन नेता मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने विधानसभा और विधान परिषद से यह प्रस्ताव पारित कराकर केंद्र सरकार को भेजा था, लेकिन पिछले 20 सालों से इस मांग को केंद्र सरकार ने लटका करके रखा हुआ है।
भाई वीरेंद्र ने कहा कि विशेष दर्जे की मांग के विरुद्ध केंद्र सरकार में बजट 2024-25 में बिहार को झुनझुना थमा दिया है। अब इस झुनझुने को लेकर सरकार और उसके नेता इसे बजा रहे हैं। ताली बजा रहे हैं। विधानसभा परिसर में यह प्रदर्शन करीब 15 मिनट तक चला। दूसरी ओर 11:00 बजे विधानसभा की कार्रवाई प्रारंभ होते ही प्रश्न उत्तर काल के दौरान विपक्ष के नेताओं ने इसी मसले को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया। विपक्ष के अधिकांश सदस्य आसन के निकट आ गए पर पोस्टर लेकर विशेष दर्जे की मांग को लेकर आवाज उठाने लगे।
विपक्ष के नेताओं ने इस दौरान रिपोर्टर टेबल भी पलटने की कोशिश की। विपक्षी सदस्यों के इस आचरण पर विधानसभा अध्यक्ष नंदकिशोर यादव काफी आग बबूला हो गए और उन्होंने चेतावनी वाले अंदाज में विपक्ष के नेताओं को धमकाया, समझाया कि आप रिपोर्टर टेबल पलटने की हरकत ना करें। यदि ऐसा हुआ संबंधित सदस्य को सदन के बाहर करवा देंगे और उसके विरुद्ध कार्रवाई भी करेंगे। उन्होंने सदन को बताया कि एक दिन पहले भी रिपोर्टर टेबल पलटी गई थी जिसकी वजह से एक रिपोर्टर राहुल यादव घायल हो गए। उन्होंने कहा ऐसा ना करें सदन के अंदर सबको बोलने का मौका दिया जाएगा, लेकिन लोग अपने स्थान पर वापस जाएं तभी वह बोल सकेंगे। आसन के निकट आकर बोलने का अधिकार किसी को नहीं है और उनकी कोई बात नहीं सुनी जाएगी। बावजूद विपक्षी सदस्यों का हंगामा-प्रदर्शन जारी रहा।