लखनऊ (राघव): उत्तर प्रदेश में बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने बेशक कोई सीट नहीं जीती, लेकिन 16 सीटों पर उसे भाजपा या उसके सहयोगी दल की जीत के अंतर से ज़्यादा वोट मिले। इनमें से 14 सीटें भाजपा ने जीतीं और दो सीटें उसके सहयोगी राष्ट्रीय लोक दल (रालोद) और अपना दल (सोनीलाल) ने जीतीं। अगर ये सीटें भी इंडिया गठबंधन के खाते में जातीं, तो एनडीए की कुल सीटें 278 और भाजपा की 226 हो जातीं। उत्तर प्रदेश में 33 सीटें पाने वाली भाजपा को सपा-बसपा गठबंधन के बिना सिर्फ़ 19 सीटें मिल सकती थीं, जो 2019 में राज्य में 62 सीटें जीतने के बाद चौंकाने वाली बात होती।
बेशक, इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि बसपा को मिले वोट सपा-कांग्रेस गठबंधन की अनुपस्थिति में उसके खाते में चले जाते, लेकिन वास्तविक साक्ष्य बताते हैं कि पार्टी के मुख्य आधार में से कई इस बार राज्य में भारत गठबंधन के साथ चले गए हैं।