गोरखपुर (नेहा): स्पर्श राजकीय दृष्टि बाधित बालक इंटर कॉलेज के छात्रों ने तीन शिक्षकों के तबादले पर रोक, नया मोबाइल, स्टाइपंड शुल्क बढ़ाने की मांग को लेकर बृहस्पतिवार को डीएम दफ्तर पर हंगामा किया। एडीएम सिटी व सिटी मजिस्ट्रेट ने उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन वे नहीं माने। इस बीच कार्यालय में मौजूद कर्मचारियों ने दरवाजा बंद कर लिया। इससे नाराज छात्रों ने खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए। करीब तीन घंटे तक अफरा-तफरी मची रही। छात्रों ने कर्मचारियों और होमगार्ड जवानों पर मारपीट का भी आरोप लगाया। प्रशासन ने छात्रों को जबरन बस में बैठाकर विद्यालय भेज दिया। देर शाम प्रधानाचार्य ने 12 छात्रों को निलंबित कर दिया।
दृष्टिबाधित छात्र बृहस्पतिवार दिन में करीब 11 बजे डीएम दफ्तर पहुंच गए। वे डीएम को बुलाने की मांग करने लगे। उस समय डीएम राजस्व परिषद के अध्यक्ष के साथ एनेक्सी भवन में बैठक कर रहे थे। इधर, छात्रों के उग्र प्रदर्शन को देख कर्मचारियों ने कार्यालय का मुख्य दरवाजा बंद कर लिया। नाराज छात्रों ने तोड़फोड़ शुरू कर दी। सूचना पाकर एडीएम सिटी अंजनी कुमार सिंह, एडीएम एफआर विनीत सिंह और सिटी मजिस्ट्रेट हिमांशु वर्मा पहुंच गए। इसी बीच पुलिस भी आ गई। अधिकारियों ने छात्रों से बातचीत कर उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन वे नहीं माने। उनका कहना था कि मिड टर्म की परीक्षाएं चल रही हैं, इसी बीच शिक्षक शारदा प्रजापति, विनोद कुमार और सचींद्र नाथ मिश्रा का तबादला गैर जनपद कर दिया गया। पहले से ही शिक्षक कम हैं, इससे पढ़ाई बाधित हो जाएगी।
इसके अलावा उन्होंने नया मोबाइल देने, खाली पदों पर शिक्षकों की भर्ती, भत्ता को दो की जगह पांच हजार करने और तत्काल तीन वाशिंग मशीन उपलब्ध कराने की मांग की। एडीएम सिटी ने बताया कि तीन सितंबर को उनके ज्ञापन के आधार पर प्रस्ताव शासन को भेजा जा चुका है। एक मशीन अभी मंगवा दे रहे हैं, दिवाली बाद दो और मंगा देंगे। लेकिन छात्रों का कहना था कि टालमटोल न करके तीनों मशीनें अभी उपलब्ध कराएं। इसके बाद छात्रों ने नारेबाजी शुरू कर दी। आरोप है कि कुछ कर्मचारियों और होमगार्ड जवानों ने उनकी पिटाई भी की। हालांकि, प्रशासन ने इससे इन्कार किया है। करीब ढाई बजे छात्रों को जबरन बस में बैठाकर अधिकारियों ने भेज दिया।